
दिल्ली में 1984 के सिख विरोधी दंगों के दौरान दो सिखों की हत्या में उनकी भूमिका के लिए पूर्व कांग्रेस सांसद सज्जन कुमार को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। यह Sajjan Kumar के लिए दूसरी आजीवन कारावास की सजा है, जो पहले से ही दिल्ली छावनी दंगों के मामले में अपनी संलिप्तता के लिए सजा काट रहा है।
Sajjan Kumar को अन्य अपराधों के लिए भी सजा
विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा ने सज्जन कुमार को हत्या के अपराध (302) के साथ गैरकानूनी जमावड़ा (149) आईपीसी के लिए सजा सुनाई। उन्हें आग से संपत्ति को नष्ट करने के अपराध (436) के साथ गैरकानूनी जमावड़ा (149) आईपीसी के लिए भी आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। उन्हें अन्य अपराधों के लिए भी सजा सुनाई गई है, जिनमें उन्हें दोषी ठहराया गया था।
आजीवन कारावास के अलावा, Sajjan Kumar को दंगा करने के लिए धारा 147 के तहत दो साल, घातक हथियारों के साथ दंगा करने के लिए धारा 148 के तहत तीन साल और जुर्माना तथा मृत्यु या गंभीर नुकसान पहुंचाने के इरादे से गैर इरादतन हत्या का प्रयास करने के लिए धारा 308 के तहत सात साल की सजा सुनाई गई है।
राउज एवेन्यू कोर्ट द्वारा सुनाए गए फैसले में कुमार को एक भीड़ का नेतृत्व करने और उसे 1 नवंबर 1984 को दिल्ली के सरस्वती विहार इलाके में जसवंत सिंह और उनके बेटे तरुणदीप सिंह की हत्या के लिए उकसाने के लिए जिम्मेदार ठहराया गया। मामले की सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष ने कहा कि कुमार के नेतृत्व में हथियारों से लैस भीड़ ने बड़े पैमाने पर लूटपाट, आगजनी और सिखों की संपत्तियों को नष्ट किया।
Read this also: भारत जोड़ो यात्रा से प्रेरित वेडिंग कार्ड, विविधता में एकता का नेक्स्ट लेवल
क्या था मामला
यह मामला उस व्यापक हिंसा की लहर का हिस्सा है जो ऑपरेशन ब्लूस्टार के प्रतिशोध में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की उनके दो सिख अंगरक्षकों द्वारा हत्या के बाद भड़की थी।
सिख नेता गुरलाद सिंह ने कहा, “हम मौत की सजा से कम कुछ भी स्वीकार नहीं करेंगे। हम अदालत के फैसले से खुश नहीं हैं। हम सरकार से अपील करेंगे कि वह उच्च न्यायालय में जाए और Sajjan Kumar के लिए मौत की सजा की घोषणा करे।”
Read this also: देशभर में बीपी, डायबिटीज, कैंसर जैसी बीमारियों की मुफ्त जांच, स्वास्थ्य मंत्रालय ने तारीखों का किया ऐलान
Sajjan Kumar को लेकर अभियोजन पक्ष की मांग
अभियोजन पक्ष ने पहले Former Congress MP Sajjan Kumar के लिए मौत की सज़ा की मांग की थी। अपने लिखित बयान में अभियोजन पक्ष ने तर्क दिया कि यह मामला निर्भया सामूहिक बलात्कार और हत्या मामले से भी ज़्यादा गंभीर है, क्योंकि इसमें पूरे समुदाय को जानबूझकर निशाना बनाया गया था।
अभियोजन पक्ष ने कहा, “मौजूदा मामला निर्भया मामले से ज्यादा गंभीर है। उस मामले में एक युवती को निशाना बनाया गया था, लेकिन यहां एक विशेष समुदाय के लोगों पर हमला किया गया।” उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि कुमार का अपराध “दुर्लभतम” श्रेणी में आता है और इसके लिए मृत्युदंड दिया जाना चाहिए।
अभियोजन पक्ष ने तर्क दिया कि हत्याएं क्रूर और शैतानी तरीके से की गईं, जिसने समाज की सामूहिक चेतना को झकझोर कर रख दिया। उन्होंने तर्क दिया कि यह मामला सिर्फ़ व्यक्तिगत हत्याओं का नहीं बल्कि पूरे समुदाय के खिलाफ़ अपराध का है, जो नरसंहार के बराबर है।
अभियोजन पक्ष ने आगे कहा कि दंगों के कारण सिखों का बड़े पैमाने पर पलायन हुआ, जिससे उनके जीवन और आजीविका पर गंभीर असर पड़ा। उन्होंने जोर देकर कहा कि ऐसी घटनाएं समुदायों के बीच विश्वास को तोड़ती हैं और सामाजिक सद्भाव को बाधित करती हैं। Sajjan Kumar, जो उस समय सांसद थे, पर न केवल पीड़ितों की रक्षा करने में विफल रहने का आरोप लगाया गया था, बल्कि हिंसा में सक्रिय रूप से भाग लेने और कानून के शासन की खुलेआम अवहेलना करने का भी आरोप लगाया गया था।