Non-Taxable Income: आजकल बहुत से लोग सिर्फ़ एक आय स्रोत पर निर्भर नहीं हैं, बहुत से लोग अपनी नौकरी के अलावा दूसरे काम भी करते हैं। लोगों ने बचत और निवेश के महत्व को भी समझा है और वे अपने निवेश से अच्छा ब्याज भी कमाते हैं। लेकिन, इन सभी कमाई के बीच लोगों को टैक्स के बारे में ज़्यादा जानकारी नहीं है। भारत में हमारी आय पर टैक्स देना पड़ता है जबकि कुछ आय स्रोतों पर कोई टैक्स नहीं लगता।
आय जो आयकर के दायरे में नहीं आती है उसे गैर-कर योग्य आय(Non-taxable income) कहा जाता है। यह आय किसी व्यक्ति की कर देयता गणना(Tax Liability Calculation) से पूरी तरह बाहर होती है। नीचे हमने उन आय स्रोतों पर चर्चा की है जिन पर टैक्स नहीं लगता है।
जीवन बीमा दावा या परिपक्वता(Life Insurance Claim or Maturity-)- अगर आपने जीवन बीमा पॉलिसी(Life Insurance Policy) खरीदी है तो परिपक्वता पर मिलने वाली राशि पूरी तरह गैर-कर योग्य आय(Non-taxable income) होती है। इस पर आपको कोई टैक्स नहीं देना होता है। नियमों के अनुसार, आपकी जीवन बीमा पॉलिसी(Life Insurance Policy) का सालाना प्रीमियम उसकी बीमित राशि के 10% से ज़्यादा नहीं होना चाहिए; अगर जीवन बीमा पॉलिसी में प्रीमियम इससे ज़्यादा है तो आपको अतिरिक्त राशि पर आयकर देना होगा।
दूसरी ओर, यदि आपके परिवार में किसी विकलांग या गंभीर रूप से बीमार व्यक्ति के लिए जीवन बीमा पॉलिसी(Life Insurance Policy) है, तो प्रीमियम राशि बीमित राशि का 15% तक हो सकती है।
Non-Taxable Income: उपहार(Gift)
आयकर अधिनियम(Income Tax Act) के अनुसार, रिश्तेदारों से प्राप्त आय, जैसे संपत्ति, आभूषण या धन, धारा 56(2)(Property, jewellery or money, Section 56(2)) के तहत कर योग्य नहीं(Non-taxable income) है। हालांकि, गैर-रिश्तेदारों से प्राप्त उपहार केवल 50,000 रुपये तक की कर छूट के लिए पात्र हैं। आयकर अधिनियम की धारा 10(2)(Section 10(2) of the Income Tax Act) के अनुसार, हिंदू अविभाजित परिवार (HUF) से या विरासत के माध्यम से प्राप्त संपत्ति पर कर नहीं लगता है।
Non-Taxable Income: कृषि से संबंधित आय(Agriculture-related income)
यदि आप कृषि भूमि के मालिक हैं और खेती या संबंधित गतिविधियों से कमाते हैं, तो आपको उस आय पर कोई आयकर नहीं देना होगा। कृषि भूमि की खरीद और बिक्री से होने वाली आय भी कर-मुक्त है।
Non-Taxable Income: ग्रेच्युटी
सरकारी कर्मचारी की मृत्यु या सेवानिवृत्ति पर मिलने वाली ग्रेच्युटी पूरी तरह से कर-मुक्त होती है। निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को भी 10 लाख रुपये तक की सेवा समाप्ति ग्रेच्युटी(Service Termination Gratuity) पर कर छूट का लाभ मिलता है। आयकर अधिनियम(Income Tax Act) के तहत बोनस कर कटौती कई अन्य कारकों पर निर्भर करती है।
इसके अलावा, आयकर अधिनियम की धारा 10(15)(Section 10(15) of the Income Tax Act) के अनुसार कुछ योजनाओं पर ब्याज से होने वाली आय पूरी तरह से कर-मुक्त है। इनमें सुकन्या समृद्धि योजना(Sukanya Samriddhi Scheme), स्थानीय प्राधिकरण और इंफ्रास्ट्रक्चर बॉन्ड(Local Authority and Infrastructure Bonds), गोल्ड डिपॉजिट बॉन्ड(Gold Deposit Bond) आदि शामिल हैं। इन पर मिलने वाले ब्याज पर कोई कर नहीं लगता है।